छत्तीसगढ़ के रायगढ़ में महुआ शराब की बिक्री हो रही है। गांव और उसके आसपास जंगलों में महुआ शराब बनाया जा रहा है। ऐसे में मंगलवार को बंगुरसिया की काफी संख्या में महिलाएं कलेक्ट्रेट पहुंची और कलेक्टर के नाम आवेदन देकर गांव में शराबबंदी की मांग की।
बंगुरसिया गांव के लोगों ने बताया कि पिछले लंबे समय से गांव के बड़झरिया तालाब के पास अवैध शराब बनाया जा रहा है। यहां करीब 5 लोग हैं, जो महुआ का शराब बनाते आ रहे हैं। इससे गांव के कई ग्रामीण और युवा वर्ग शराब पीने के लिए पहुंचते हैं। शराब पीकर गांव और घर में लड़ाई झगड़ा करते हैं।
इससे परेशान होकर आज बंगुरसिया की महिलाएं कलेक्ट्रेट पहुंची थी। उन्होंने बताया कि शराब के कारण गांव का माहौल भी बिगड़ते जा रहा है। आए दिन शराब की वजह से झगड़ा हो रहा है।
गांव के लोगों ने बताया कि अवैध शराब बनाने वालों में डब्ल्यू, हरिशंकर, रोपना, परदेशी और लाल साय है। पूर्व में इन पर अवैध शराब को लेकर कार्रवाई भी की गई थी, लेकिन ये मानने को तैयार नहीं और लगातार महुआ शराब बनाकर उसकी बिक्री कर रहे हैं।
इस संबंध में सोना सिदार ने बताया कि गांव में सबसे बड़ी परेशानी दारू है। इसे गांव में बंद करवाना चाहते हैं। आदमी लोग शराब पीकर आते हैं और घर में झगड़ा करते हैं। जो दारू बनाते हैं उन्हें जाकर शराब बनाने से मना किया जाता है, तो वे अपने घर में समझाओ बोलकर बात नहीं मानते। इस कारण आज कलेक्ट्रेट आए हैं। ताकि गांव में शराब बंद हो सके।
कार्रवाई हुई पर मान नहीं रहे
कलेक्टर के पास शिकायत करने पहुंची रानी महापात्रे ने बताया कि गांव में अवैध रूप से शराब बनाकर बेचा जा रहा है। ग्रामीण शराब पीकर आते हैं और घर में अत्याचार करते हैं। इस कारण गांव में शराबबंदी के लिए कलेक्टर के पास आए हैं। पूर्व में पुलिस आकर कार्रवाई कर चुकी है, लेकिन ये लोग मान नहीं रहे हैं।